"बरसो बाद मुझे तेरी याद आई है, बरसो बाद इन आँखो से अश्क बन कर मुझसे मिलने तू आई है,
बरसो बाद मिली मुझे ये तन्हाई है, बरसो बाद मिली मुझे तुझसे ये जुदाई है,
बरसो बाद क्यों की तूने मुझसे ये बेवफ़ाई, वादा उमर भर साथ जीने का था तेरे, पर क्यों मेरे लिए तूने ही अपनी ये ज़िंदगी गवाई है,
बरसो बाद क्या तूने दी मेरी मोहब्बत की ये वफ़ाई है, दिल पूछता है मेरा ए मेरी दिलरूबा
बरसो बाद भी क्यों तू मेरे प्यार को ना समझ पाई है, रहे जुदा तू मुझसे चाहे जन्मो जनम ए मेरे हमदम
पर मेरी तो हर साँस में यूगो यूगो से सिर्फ़ तू ही तो समाई है, सिर्फ़ तू ही तो समाई है"
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