Wednesday 8 January 2020

मेरी शायरी

१-"रिमझिम बरसात आज होने दो
प्यार भरी रात में आज सोने दो
आ जाओ करीब अब इतने तुम
नदी को सागर में आज खोने दो"

२-"कहने को बहुत कुछ है तुमसे
पर मेरे पास अल्फ़ाज़ नही है
प्यार तो है तुमसे बेइंतहा मुझे
बस मेरे पास लफ्ज़ नही है"



No comments:

Post a Comment