जीवन में बस एक किनारा ढूंढते हैं
बिखरे हुए से बस एक सहारा ढूंढते हैं
टूट कर गिरे है दिलके टुकड़े मेरे यहाँ
सूनी ज़िंदगी मे एक साथी प्यारा ढूंढते हैं
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जीवन में बस एक किनारा ढूंढते हैं
बिखरे हुए से बस एक सहारा ढूंढते हैं
टूट कर गिरे है दिलके टुकड़े मेरे यहाँ
सूनी ज़िंदगी मे एक साथी प्यारा ढूंढते हैं
" जी चाहता है दुनिया भूल जाऊँ मै
आज तेरी बाहों में कुछ यूं खो जाऊँ मै
बन जाऊँ तेरी आज सब कुछ भुला कर
ए मेरे हमदम आज बस तेरी हो जाऊँ मैं"
"ए दिल तू बेकरार बहुत है
तुझे उन पर ऐतबार बहुत है
वो करते नही याद तुझे फ़िर
तुझे उनका इंतजार बहुत है'
"जाने ये कैसा रिश्ता है तुमसे मेरा
हरपल नज़र आता है मुझे इक चेहरा तेरा
दूर हूँ तुझसे हूँ मज़बूर बहुत मैं हालातो से
कम नही होता प्यार जो है सागर से भी गहरा"
1-"खुश रहने की हसरत में ग़मो को गले लगा लेते हैं
बहते हुए इन अश्कों को आज भी हम छिपा लेते हैं
नही चाहते कोई पूछे दिल का हाल हमारा अब
इसलिए महफ़िल में आज भी हम मुस्कुरा लेते हैं"
2-"ठोकरे न मिलती, सम्भलना न सीख पाते
अगर गिरते नही तो, उठना न सीख पाते
आँसू न मिलते अगर, महफ़िल में हमें तो
दुनियां में देखो फिर, जीना न सीख पाते"
चलते चलते जाने क्यों हम आज रुक से गयेक
हते कहते कुछ जाने क्यों हम चुप हो से गये
"तुम्हे क्या बताये तुम्हे कितना चाहते हैं
अपनी हर ख़ुशी में तुम्हे ही हम पाते हैं
"ये ज़रूरी नही रोज़ बात करें हम
ये ज़रूरी नही रोज़ मुलाकात करें हम
प्यार तो हमेशा रहेगा दिलमें हमारे
बस इतना सा ये याद रखें हम"
ख़फ़ा तुमसे हम हो नही सकते
दूर अब तुमसे हम जा नही सकते
दिलमे बसे हो कुछ यू इस तरह मेरे
तुम बिन अब हम रह नही सकते
दिलकी बात किसीसे कह नही सकते
दर्द जुदाई का अब हम सह नही सकते
तड़पते है जिसके लिए दिन-रात ऐसे
उससे ये बात देखो हम कह नही सकते
हसना भूल गए हम पर रो नही सकते
आँखे किसीको नम दिखा नही सकते
है दर्द कितना दिलमें मेरे ए हमनशीं
ज़ख्मो पर मरहम भी लगा नही सकते
है मजबूर हम की कुछ कह नही सकते
चुप रहकर यु हम खामोश रह नही सकते
नज़रे बता जाती है मेरी दिलका हाल ऐसे
पर ज़ुबाँ पर नाम उनका ले नही सकते
"माना तुमसे हो गए हम दूर
न मेरा है इसमें न तेरा है क़सूर
दुनियां की रीत से बंधे हुए हम
जिससे हुए आज हम मज़बूर"
"ज़िंदगी की राहों पर बहुत गम मिले मुझे
पग-पग दर्द यहाँ हरदम मिले मुझे
दोस्ती कर ली है अब अपने ज़ख़्मो से
इस ज़माने से अश्क़ हर कदम मिले मुझे "
"तेरा दूर जाना नही सताता मुझे इतना
जितना तेरा रूठना मुझे रुला जाता है"
खुद में ही अब खुश रहने लगीं हूँ
अकेले में अब मुस्कुराने लगी हूँ
हो गयी है मोहब्बत अब खुदसे ही
खुदसे ही बातें अब करने लगी हूँ
दुनिया भुला अपनी ही होने लगी हूँ
खुदसे ही जाने क्या अब कहने लगी हूँ
जरूरत नही किसी हमराही की मुझे
मोहब्बत खुदसे ही अब करने लगी हूँ
1-"मुझ में कुछ ऐसे आ गए हो तुम
देखो कैसे मुझमे समा गए हो तुम
जुदा कैसे मानू तुम्हें खुद से अब
मेरे रग रग में अब छा गए हो तुम"
2-" एक खूबसूरत अहसास हो तुम
मेरे लिए बहुत खास हो तुम
दूर हो कितना भले आज मुझसे
पर इस दिलके बहुत पास हो तुम"
उनकी चाहत में कुछ ऐसे बेकरार हो बैठे
इनकार करते करते फिर हम प्यार कर बैठे
सोचा था न दिल लगाएंगे अब कभी हम
लेकिन फिरसे मोहब्बत का इज़हार कर बैठे
जानें क्यों कुछ में मचलने लगी हूँ
कहते कहते क्यों में रुकने लगी हूँ
हुआ था न पहले ये कभी मुझे
खुद से ही मोहब्बत में करने लगी हूँ
रास्तों पर अकेले में टहलने लगी हूँ
खुद से ही बातें मैं अब करने लगी हूँ
खोई रहती हूँ यु अब दुनिया भुला
बस कुछ ऐसे खुश में रहने लगी हूँ
पल-पल ऐसे अब मैं संवरने लगी हूँ
कुछ ऐसे अब में यु निखरने लगी हूँ
हो गयी है आशिक़ी खुद से ही मुझे
ख़ुद पर ही अब तो में मिटने लगी हूँ
"तू है दिल की धड़कन तू ही सुकून है मेरा
तुझ से है ख़ुशी मेरी ....तू ही जुनून है मेरा"
"जी चाहता है सब भूल जाऊ में
आज तेरी कुछ ऐसी हो जाऊं में
बाहों भर लो आज मुझे तुम ऐसे
की बस आज तुझमे खो जाऊ में
बन तेरी दूर तुझ से न जाऊ मैं
कुछ ऐसी आज तेरी बन जाऊं में
लुटा दूँ प्यार तुझ पर यु इस कदर
इश्क में तेरे खुद को भूल जाऊ में"
जाने क्यों ये दिल बेकरार बहुत है
मोहब्बत का किया इज़हार बहुत है
तुम सताते हो हर लम्हा फिर भी
जाने क्यों तुम से हमे प्यार बहुत है
जी चाहता है ख़फ़ा तुम से हो जाऊं में
कुछ ऐसे तुम को भी अब सताऊं में
पर इस दिल को तुम से प्यार बहुत है
फिऱ कैसे तुम से अब यु दूर जाऊं मैं
तेरी याद में पलकें मेरी भीग जाती हैं
इस भीड़ में तेरी याद मुझे सताती है
तु खुश है तड़पा कर मुझे इतना कैसे
बिन तेरे ज़िस्म से रुह निकल जाती है
काश तू समझ सकता मेरे ज़ज़्बातों को
बिन तेरे देख मेरी आँख भर आती हैं
तोड़ कर चला गया दिल मेरा तू ऐसे
मेरी हर धड़कन फिरभी तुझे बुलाती है
"किसीसे दिल लगाना यु आसां नही होता
किसीको दिलमे बसाना यू आसां नही होता
जिस अज़नबी को अपना बना लिया दिलने
दूर उससे जाना फ़िर यु आसां नही होता"
"दिल से दिल की बात कुछ ऐसे हो जाये
एक दूजे की बाहों में आज हम खो जाये
भूल दें दुनिया के रस्मों-रिवाजो को फ़िर
आज हम कुछ ऐसे एक दूजे के हो जाये"
मोहब्बत में लोग अश्क़ बहाते बहुत हैं
हँसा कर लोग देखो फ़िर रुलाते बहुत हैं
ख़्वाब दिखाते हैं ख़ुशी के पहले फ़िर
तोड़ कर दिल सनम का सताते बहुत हैं।
दिल की बात बताना न आया हमें
रोकर फ़िर मुस्कुराना न आया हमे
वो देते रहे पल पल ज़ख्म इश्क में
पर इल्ज़ाम उनको न देना आया हमे
दर्द में भी उन्हें न सताना आया हमे
इश्क़ में किसी को रुलाना न आया हमें
सहते रहे सितम हम ज़माने के यूँही
ज़ज़्बातो को फ़िर जताना न आया हमें
दूर जितना तुमसे हम होना चाहते हैं
करीब उतना ही खुदको हम पाते हैं
कैसा रिश्ता है तुमसे मेरा ए मेरे हमनशीं
तुमसे है मोहब्बत और तुमसे ही छिपाते हैं
"बंज़र है ज़मीं सूखे ये नज़ारे है
इस भीड़ में खड़े हम बेसहारे हैं
तूने जो छोड़ा साथ तन्हा है हम
तेरे इश्क़ में आज बने बेचारे है
ख्वाब दिखा तूने कहा अब न तुम्हारे है
टूटे हुए दिलके टुकड़े अब न ये हमारे है
वफ़ा की तूने दी ये सजा कैसी मुझे
इस तन्हाई में अश्क ही अब मेरे सहारे हैं"
"आज फ़िर तेरी याद मुझे आयी
देख फिर मेरी आँख भर आयी
तू तो है बेखबर मेरी मोहब्बत से
पर तेरे लिए मैं दुनिया छोड़ आयी"
"मीठी से हवा चली अभी
क्या तुमने कुछ कहा अभी
ख़ुशी से झूम रहा दिल मेरा
तुम्हेभी ये अहसास हुआ अभी"
भरलो बाहों में मुझे आज अपना बना लो
कभी न टूटने वाला एक ख्वाब बना लो
जियूँ संग तेरे मैं हर पल अब तो बस
मेरे हमदम तुम आज बस अपना बना लो
पल-पल तेरी याद मुझे आती है
दिन-रात बहुत मुझे रुलाती है
काश तू कर पाता अहसास मेरे दर्द का
तेरी हर बात मुझे बहुत तड़पाती है
दिल से दिल की बात पहुंचाना न आया हमें
मोहब्बत के ज़ज़्बात दिखाना न आया हमें
सोचते रहे समझ लेंगे वो आँखोंसे मेरी मोहब्बत
इसीलिए इज़हार ईश्क का करना न आया हमे
" इस जीवन की आस हो तुम
मेरे लिए बहुत खास हो तुम
दूर हो आज तुम मुझसे भले
पर हर पल दिलके पास हो तुम"
" तेरी यादो में कुछ ऐसे खोये हम
जुदा तुझसे हो कर बहुत रोये हम
दिन-रात बस करते तेरी ही बातें
दूर तुझसे होकर न जागे न सोये हम"
1- आजा आज तेरी में ज़िंदगी सवार दु
ए मेरे हमनशीं तुझे आज इतना मैं प्यार दु
महके तू मेरी ही खुश्बू से अब इस तरह
ए ज़िन्दगी आज तुझे ऐसी में बहार दु
2- "दिल की बात उन्हें हम बता नही पाए
इश्क़ का अहसास उन्हें जता नही पाए
तड़पे दिन-रात जिसकी झलक के लिए
मिलकर उनसे कभी ये बता नही पाए"
3-"दिल की गहराई में कुछ ऐसे यु, इस तरह बस गए हो तुम
की मुझमें अब मैं कहाँ,मुझमें कुछ इस तरह समा गए हो तुम"
1-"वक्त और हालातों से बहुत लड़े हम
हर बार गिरकर फ़िर से हुए खड़े हम
पर आज कुछ टूट कर यु बिखर गए हैं
इस महफ़िल में देखो कैसे उजड़े पड़े हम"
2- "संग तेरे गुज़ारे वो पल बहुत याद आते हैं
संग तेरे जिये वो पल मुझे बहुत रुलाते हैं
कैसे भुला दूँ तुझे दिल से मैं यूँही ए ज़िंदगी
बीते हुए ये पल करीब तेरे और मुझे ले आते हैं"
हँसा कर मुझे कभी रूला मत जाना
पास आ कर अब फ़िर दूर मत जाना
तुम्हें अपना माना है दिल से मैंने तो
दिल मेरा कभी यु तोड़ मत जाना
जो रूठो तुम तो मनाउ फ़िर तुम्हें मैं
पर मुझ से कभी तुम मुँह मोड़ मत जाना
आज फ़िर कोशिश की कोई बहाना करने की
ख्वाइश हुई आज फ़िर कोई तराना कहने की
सोचा दिल की हर बात कह दूं तुझ से आज
ख्वाइश हुई आज फ़िर दिल आशिकाना करने की
दिल पूछता है मेरा ये हर बार
"तुमसे दूर हो जाये कैसे
जुदा तुमसे हो जाये कैसे
रूह में बस गए हो तुम
इस रिश्ते को भुलाये कैसे"